Lok Sabha Election: बंगाल में Congress-CPI(M) के बीच सीट बंटवारे पर मंथन, BJP से सीधी भिड़ंत की तैयारी में TMC

Kolkata News: बंगाल में एक और कांग्रेस और CPI (M) के बीट सीट शेयरिंग पर चर्चा होनी है वहीं दूसरी ओर तृणमूल कांग्रेस ने BJP को हराने के लिए राज्य के 42 सीटों पर चुनाव लड़ने की तैयारियां शुरु कर दी है।
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कोलकाता, हि.स. । तृणमूल कांग्रेस ने राज्य की सभी 42 लोकसभा सीटों के लिए उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है। इसके बाद CPI (M) ने सीट समझौते के मुद्दे पर कांग्रेस पर दबाव बढ़ा दिया है। CPI (M) ने इस बावत कांग्रेस को अल्टिमेटम दे दिया है। पश्चिम बंगाल में कांग्रेस की ममता बनर्जी से सीट बंटवारे पर बात नहीं बन पाई है।

कांग्रेस और CPI (M) के बीच सीट गठबंधन पर होगी चर्चा

CPI (M) के एक नेता ने बताया कि बुधवार को वाम मोर्चा द्वारा सीटों के संबंध में प्रारंभिक घोषणा करने की योजना बनाई गई है। हालांकि, CPI (M) को उम्मीद है कि AICC उसके पहले अपनी स्थिति स्पष्ट कर देगा। यही बात प्रदेश कांग्रेस ने भी कही। सोमवार को दिल्ली में CPI (M) पोलित ब्यूरो की बैठक हुई थी। पार्टी सूत्रों के मुताबिक इस बात पर चर्चा हुई है कि बंगाल में कांग्रेस के साथ सीटों को लेकर खींचतान में कोई रुकावट नहीं है लेकिन पूरा मामला रुका हुआ है क्योंकि कांग्रेस की ओर से अभी तक कुछ भी स्पष्ट घोषणा नहीं की गई है।

सीट शेयरिंग पर तुरंत बात बननी बहुत जरूरी

लेफ्ट कांग्रेस और ISF के साथ मिलकर भाजपा और तृणमूल के खिलाफ लड़ना चाहता है। सूत्रों के मुताबिक, CPI (M) ने AICC को संदेश दे दिया है कि तृणमूल उम्मीदवार की घोषणा के बाद इंतजार करने का कोई मतलब नहीं है। CPI (M) के राज्य सचिव मोहम्मद सलीम ने हिन्दुस्थान समाचार से कहा कि सीट शेयरिंग पर तुरंत बात बननी बहुत जरूरी है। यह साफ होना चाहिए कि कांग्रेस बंगाल में कितनी सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है। आमने-सामने चर्चा करना बेहतर है। उम्मीद है कि बुधवार तक मामला स्पष्ट हो जाएगा।

42 सीटों पर चुनाव लड़ेगी तृणमूल कांग्रेस

लोकसभा चुनाव की घोषणा से पहले ही पश्चिम बंगाल में राजनीतिक रस्सा-कस्सी शुरू हो गई है। केंद्र की सत्ता से नरेंद्र मोदी सरकार को उखाड़ फेंकने के लिए बने विपक्षी दलों के इंडी गठबंधन में भले ही सत्तारूढ़ पार्टी तृणमूल कांग्रेस है, लेकिन ममता बनर्जी ने राज्य की सभी 42 लोकसभा सीटों पर उम्मीदवारों की घोषणा कर गठबंधन को सकते में डाल दिया है। अब CPI (M) और कांग्रेस एक साथ मिलकर साझा उम्मीदवार उतारने की तैयारी कर रहे हैं।

राज्य में मोदी बनाम दीदी की लड़ाई

इधर मुख्य विपक्षी पार्टी भाजपा भी राज्य में 20 लोकसभा सीटों पर उम्मीदवार घोषित कर चुकी है। हालांकि इनमें से एक आसनसोल सीट पर उम्मीदवार और भोजपुरी सिंगर पवन सिंह ने चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया है। इसलिए भारतीय जनता पार्टी अब राज्य की बाकी 23 सीटों पर उम्मीदवारों की घोषणा करेगी। भाजपा ने तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवारों की सूची जारी होने के बाद इनमें बंगाल के बाहर के लोगों को टिकट दिए जाने को लेकर सवाल खड़ा किया है। इस पर तृणमूल का कहना है कि किसे टिकट दिया गया है यह मायने ही रख नहीं रखता है। हकीकत यह है कि राज्य में मोदी बनाम दीदी की लड़ाई होनी है।

मोदी और दीदी की गारंटी के बीच लड़ाई

तृणमूल के राज्यसभा सांसद सुखेंदु शेखर रॉय ने को कहा कि राज्य में असली लड़ाई मोदी की गारंटी और दीदी की गारंटी के बीच है। रॉय ने दावा किया कि बाहरी वे लोग हैं, जो बंगाल का अपमान करते हैं। तृणमूल ने पूर्व क्रिकेटर युसूफ पठान को बहरामपुर से अपना उम्मीदवार बनाया है। बहरामपुर, कांग्रेस की प्रदेश इकाई के प्रमुख और 5 बार के सांसद अधीर रंजन चौधरी का गढ़ है। वहीं 2022 में आसनसोल सीट पर हुए उपचुनाव में तृणमूल के टिकट पर जीत हासिल करने वाले अभिनेता से नेता बने शत्रुघ्न सिन्हा को पार्टी ने फिर से अपना उम्मीदवार बनाया है। हालांकि अपने संसदीय कार्यकाल के दौरान शत्रुघ्न सिन्हा ने संसद में एक बार भी नहीं बोला और ना ही लिखित तौर पर अपनी उपस्थिति दर्ज कराई ना मौखिक तौर पर। वहीं पूर्व क्रिकेटर कीर्ति आजाद को बर्धमान-दुर्गापुर से उम्मीदवार घोषित किया गया है। 2019 लोकसभा चुनाव में भाजपा ने इस सीट पर जीत हासिल की थी। सुखेंदु शेखर रॉय ने कहा, ''देश में कोई भी अन्य राजनीतिक दल किसी भी राज्य के उम्मीदवारों की पूरी सूची की घोषणा नहीं कर पाया है।''

बाहरी वे हैं, जो बंगाल का अपमान करते हैं

रॉय ने कहा, ''कृष्णा मेनन और बी आर आंबेडकर, दोनों ने बंगाल से चुनाव लड़ा था। हमने उन्हें कभी बाहरी नहीं माना। बाहरी वे हैं, जो बंगाल का अपमान करते हैं। बाहरी वे हैं, जो बंगाल पर कब्जा करने की बात करते हैं, जो राज्य को वंचित करते हैं और धनबल व जांच एजेंसियों का दुरुपयोग करके सत्ता पर कब्जा करने की कोशिश करते हैं।'' इंडी गठबंधन के बारे में पूछे गए एक सवाल का जवाब में उन्होंने कहा कि बात किसी गठबंधन की नहीं है। मोदी और दीदी के बीच की लड़ाई है और वही लड़ी जाएगी।

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