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नई-दिल्ली

COVID-19 New Jn.1 Variant: मजबूत इम्युनिटी वाले लोगो को भी बना रहा है अपना शिकार, जानें कितना है खतरनाक?

नई दिल्ली, रफ्तार डेस्क। भारत में भी कोरोना का खतरा बढ़ता जा रहा है। सभी को सरकार की गाइडलाइंस का ईमानदारी से पालन करना चाहिए। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के ताजा आकड़ो के अनुसार, गुरुवार को देश में 594 नए COVID-19 संक्रमण के मामले दर्ज हुए हैं। इसके कारण कोरोना के एक्टिव केस की संख्या 2311से बढ़कर 2669 पहुंच गयी है। अब जहां देश में कोरोना के नए सब-वैरिएंट जेएन.1 के केस भी सामने आने लगे है, जो कि बहुत ही चिंता का विषय है। Jn.1 यह ओमिक्रॉन के सब-वैरिएंट BA.2.86 से बना है, जिसने(BA.2.86) वर्ष 2022 के प्रारंभ बड़ी तबाही मचाई थी। जेएन.1 कोविड-19 वैरिएंट भारत ही नहीं, बल्कि पूरी दुनिया में तेजी से फैल रहा है। WHO ने पहले ही इसे 'वैरिएंट ऑफ इंटरेस्ट' बताया है, आइये जानते हैं इसके खतरे के बारें में।

क्या 'जेएन.1 वैरिएंट के कारण कोई बड़ा खतरा सामने आया

नीति आयोग के सदस्य वीके पॉल ने जानकारी दी कि Jn.1 वैरिएंट के कारण covid के मामलो में बढ़ोतरी तो हुई है मगर इसके कारण गंभीर मामलो की संख्या में कोई बढ़ोतरी नहीं हुई है। यह वायरस अन्य देशो में भी फैल रहा है। डब्लूएचओ के अनुसार जेएन.1 वैरिएंट का स्वास्थ्य में असर जानने ने लिए इसके गहन अध्यन की जरुरत है। यह वैरिएंट मजबूत इम्युनिटी वाले लोगो को भी अपना शिकार बना रहा है। जहाँ सर्दी का मौसम है, उस इलाके के लोगो को भी सावधानी बरतने की बहुत जरुरत है।

Jn.1 वैरिएंट के लक्षण

COVID-19 के लक्षण हर वैरिएंट्स में अब तक कॉमन रहे हैं। सीडीसी के अनुसार Jn.1 वैरिएंट दूसरे वैरिएंट्स की तुलना में नए लक्षण के साथ फैलने वाला भी हो सकता है और नही भी। अभी तक कोरोना के मरीजों में जो भी लक्षण आये हैं, उसमे बुखार, नाक बहना, गले में खराश, सिरदर्द और हल्के गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल के लक्षण पाए गए हैं।

क्या मास्क पहनना अनिवार्य होना चाहिए?

एक्सपर्ट्स के अनुसार सबको मैरिज हॉल, पब्लिक ट्रांसपोर्ट और भीड़-भाड़ वाली जगहों पर मास्क पहनना चाहिए। इससे covid के साथ साथ हवा में फैलने वाली बीमारी से बचा जा सकेगा। लेकिन मास्क को अनिवार्य करने की अभी कोई आवश्यकता नहीं है। कमजोर इम्युनिटी वाले लोगो, गर्भवती महिलाओं और बूढ़े लोगो को भीड़ भाड़ वाली जगह जाने से बचना होगा।

क्या बूस्टर डोज लेना जरुरी है?

गंभीर बीमारी को रोकने के लिए वैक्सीन ने बढ़िया कार्य किया है। मगर बूस्टर के दोनों डोज लगाने के बाद भी कई लोग संक्रमित हो रहे हैं। और इस डोज के बाद भी कई लोगो में इम्युनिटी कमजोरी देखी गयी है। अपोलो हॉस्पिटल के संक्रामक रोग विशेषज्ञ डॉ. वी रामसुब्रमण्यम के अनुसार बुजुर्गों, अन्य गंभीर बीमारियों और पुरानी बीमारी वाले लोगों को वैक्सीनेशन जरूर करा लेना चाहिए। भारत के साथ साथ अन्य देशो में भी वैक्सीन के अपडेटेड वर्जन पहले से ही उपलब्ध हैं।

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