गंगा रक्षा के लिए 8 मार्च से जल भी छोड़ेंगे ब्रह्मचारी आत्मबोधानंद
हरिद्वार, 02 मार्च (हि.स.)। मातृ सदन में तपस्यारत स्वामी शिवानंद सास्वती के शिष्य ब्रह्मचारी आत्बोधानंद ने 8 मार्च से जल छोड़ने की घोषणा की है। इसके पूर्व 23 फरवरी से वह नींबू, जल और शहद के सहारे तपस्या कर रहे हैं। मातृ सदन आश्रम में पत्रकारों ब्रह्मचारी आत्मबोधानंद ने कहा कि स्वामी सानंद की चार मांगों को लेकर उन्होंने 23 फरवरी से तपस्या शुरू की थी, लेकिन उत्तराखंड सरकार एवं हरिद्वार जिला प्रशासन ने बिना उनसे वार्ता की हुए 25 फरवरी से खनन को खोल दिया। इसके चलते उन्होंने आगामी 8 मार्च से जल त्यागने का निर्णय लिया है। अब वह बिना जल के ही तपस्या को जारी रखेंगे। उन्होंने कहा कि गंगा रक्षा के लिए वे अपने प्राणों की आहुति देने से भी पीछे नहीं हटेंगे। स्वामी शिवानंद ने कहा कि कुंभ के दौरान वे अपना शरीर छोड़ देंगे, लेकिन इसके पूर्व 100 कारण प्रमाण के साथ छोड़ जाऐंगे ताकि दुनिया के सामने सरकार और खनन माफिया की सच्चाई सामने आ सके। हिन्दुस्थान समाचार/रजनीकांत/मुकुंद