किसान व मजदूर वर्ग के लिये साईकिल आज भी है यातायात का प्रमुख साधन : डाॅ सुधीर यादव
फिरोजाबाद, 03 जून (हि.स.)। 21वीं सदी में आज भले ही हमारे पास मोटर साईकिल व लग्जरी कार है जिनसे लम्बे से लम्बा सफर कम समय में आराम से तय करना आसान हुआ है लेकिन इन वाहनों से पर्यावरण को नुकसान पहुंच रहा है। यही वजह है कि समाज का प्रत्येक वर्ग आज अपने दैनिक जीवन में साईकिल की भी सवारी कर रहा है। लोगों का कहना है कि साईकिल की सवारी से पर्यावरण को कोई नुकसान नही है साथ ही शरीर भी स्वस्थ रहता है। विश्व साईकिल दिवस के अवसर पर समाजवादी पार्टी अधिवक्ता सभा के प्रदेश सचिव डाॅ सुधीर यादव एडवोकेट का कहना है कि साईकिल एक ऐसी सवारी है जिसे हमारे समाज का हर वर्ग इस्तेमाल कर सकता है। यह हमारे स्वास्थ्य के लिये काफी बेहतर है तथा हमारे बातावरण को प्रदूषण रहित बनाती है। भारत में आजादी के बाद साईकिल हमारे यातायात का प्रमुख साधन थी। किसान व मजदूर वर्ग के लिये साईकिल आज भी यातायात का प्रमुख साधन है। एक स्वस्थ मनुष्य के लिये दिन में कम से कम आधा घंण्टा साईकिल चलाना उसके स्वास्थ्य के लिये काफी बेहतर है। साईकिल चलाने वाले लोग शारीरिक व मानसिक रूप से पूर्ण स्वस्थ रहते है। उनका कहना है कि वह आज भी प्रतिदिन साईकिल की सवारी करते है। नगर निगम से सैनेट्री सुपर वाइजर के पद से सेवानिवृत हुये महावीर नगर निवासी महावीर सिंह का कहना है कि पहले मोटर साईकिल नही थी, साईकिल भी कुछ लोगों पर ही हुआ करती थी। तव लोग पैदल या फिर साईकिल से सफर तय करते थे। दोनों ही तरह से शरीर का व्यायाम हो जाता था। साईकिल चलाने से प्रदूषण भी नहीं होता था। इसीलिये तब लोग शारीरिक रूप से स्वस्थ रहते थे। आज मोटर साईकिल व कार की सवारी होने से ध्वनि के साथ वायु प्रदूषण तेजी से फैल रहा है। जिससे पर्यावरण को नुकसान पहुंच रहा है। उनका कहना है कि उन्होंने पूरी नौकरी पैदल या फिर साईकिल की सवारी से ही कर ली और आज भी वह प्रतिदिन साईकिल चलाते है। युवा अंकुर यादव का कहना वह प्रतिदिन सुवह उठते ही साईकिल से टहलने जाते है। तथा वह छोटे-छोटे काम साईकिल से ही निपटाते है। क्योंकि साईकिल चलाना एक प्रकार की एरोबिक एक्सरसाइज है जो हृदय, रक्तवहिकाओं और फेंकड़ों सभी को फिट रखने में मदद करती है। आज विश्व साईकिल दिवस के अवसर पर प्रत्येक व्यक्ति को साईकिल चलाने का संकल्प लेना चाहिये जिससे कि वह अपने स्वास्थ्य व पर्यावरण को फिट रख सके। हिन्दुस्थान समाचार/कौशल राठौर