नई दिल्ली, रफ्तार डेस्क। देशभर में ट्रक और बस ड्राइवरो का गुस्सा सरकार के हिट एंड रन कानून को लेकर रूकने का नाम ही नहीं ले रहा है। दो दिन पहले इस कानून से नाराजगी के कारण शुरू हुई हड़ताल का असर अब 9 राज्यों तक दिखने को मिल रहा है। अब पूरे देश में ट्रक और डंपर चालकों ने चक्का जाम करना शुरू कर दिया है। उनका हिट एंड रन कानून को लेकर नाराजगी रूकने का नाम ही नहीं ले रही है, ड्राइवरों की इस हड़ताल को लेकर मांग है कि सरकार इस कानून को वापस ले।
कौनसे राज्यों में हड़ताल का असर
हिट एंड रन कानून को लेकर दिल्ली, बिहार, राजस्थान, गुजरात, पंजाब, उत्तरप्रदेश, मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ और महाराष्ट्र में हड़ताल का बुरा असर देखने को मिल रहा है। हड़ताल के कारण ट्रांसपोर्ट व्यवस्था लगभग ठप सी हो गयी है। इस हड़ताल का असर पेट्रोल पंप में भी देखने को मिलने लगा है, जहां लंबी कतारे देखने को मिल रही है। अगर ड्राइवरों की हड़ताल ख़त्म नहीं हुई और धीरे धीरे अन्य राज्यों में भी इसका असर बढ़ता रहा तो पूरे देश की जनता को यात्रा और रोजमर्रा आदि की जरूरतों के लिए समस्या का सामना करना पड़ सकता है।
क्या है नए कानून में प्रावधान
पहले हिट एंड रन मामले में ड्राइवर को थाने से जमानत मिल जाया करती थी। साथ ही नया कानून लागू होने से पहले इस अपराध में दो साल तक की सजा का प्रावधान था। अब नए कानून के अनुसार वाहन चलाने वाले ड्राइवर को हिट एंड रन मामले में अधिकतम 10 साल की सजा के साथ साथ 7 लाख रूपए का जुर्माना लगाने का प्रावधान कर दिया है। जानकारी के अनुसार अगर यह हड़ताल अगर दो दिन भी और चली तो पेट्रोल पंप में पेट्रोल खत्म होना शुरू हो जायेगा। देश भर से ड्राइवरो ने सरकार पर बड़ा दवाब बनाना शुरू कर दिया है।
आल इंडिया मोटर ट्रांसपोर्ट कांग्रेस की बैठक आज
आल इंडिया मोटर ट्रांसपोर्ट कांग्रेस ने मंगलवार 2 जनवरी को इस मामले को लेकर बड़ी बैठक बुलाई है। बैठक में हड़ताल को लेकर बड़े निर्णय लिए जा सकते हैं। बैठक में हिट एंड रन कानून को लेकर सरकार पर किस तरह से दवाब बनाया जाए, इस पर चर्चा की जा सकती है। बैठक का बड़ा असर जरूर देखने को मिलेगा। अगर हड़ताल को रोका न गया तो देश के कई राज्यों में पेट्रोल और डीजल की भारी कमी देखने को मिल सकती है।
बस और ट्रक चालक सड़क पर उतरकर इस कानून का विरोध कर रहे हैं
सरकार के हिट एंड रन कानून को लेकर ट्रक चालकों में भारी आक्रोश देखने को मिल रहा है। कई राज्यों में बस और ट्रक चालक सड़क पर उतरकर इस कानून का विरोध कर रहे हैं। वे सरकार के इस कानून के खिलाफ नारेबाजी भी कर रहे हैं। उन्होंने हाईवे जाम करके भी अपना विरोध दिखाया, जिससे यात्रियों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा। अगर इस हड़ताल को रोका न गया तो देश में पेट्रोल-डीजल की किल्लत के कारण अन्य क्षेत्रो में भी बड़ी समस्या झेलनी पड़ेगी। जिसका सीधा खामियाजा देश की जनता को ही भुगतना पड़ेगा।
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