नई दिल्ली, रफ्तार डेस्क| केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी को अंतरिम बजट 2024 में 9 से 14 वर्ष की लड़कियों के बचाव के लिए सर्वाइकल कैंसर के खिलाफ वैक्सीन योजना का ऐलान किया। आपको बता दें कि सर्वाइकल कैंसर महिलाओं को होने वाले सबसे कॉमन कैंसर में से एक है।
सर्वाइकल कैंसर, ह्यूमन पेपिलोमावायरस (एचपीवी) के विभिन्न वैरिएंट्स की वजह से होता है। एचपीवी वायरस एक यौन संचरित वायरस होता है। ये कई प्रकार से कैंसर का जोखिम बढ़ा देता है। धूम्रपान और इम्यूनोसप्रेसिव दवाओं का सेवन करने वाली महिलाओं में सर्वाइकल कैंसर का जोखिम ज्यादा रहता है।
भारत में हर साल 1.25 महिलाओं को सर्वाइकल कैंसर होता है। इस बीमारी से 75 हजार से ज्यादा महिलाओं की मौत हो गई। जो दुनिया भर के मामलों का 70 फीसदी है। ग्लोबोकैन की जारी हुई रिपोर्ट के अनुसार साल 2020 में वैश्विक स्तर पर 604,100 नए मामलों का पता चला। विशेषज्ञों के अनुासर इस वैक्सीन से कैंसर की गंभीरता और मृत्यदर कम कर सकते हैं।
जानकारी के मुताबिक ताजा अध्ययन में पता लगा है कि सर्वाइकल कैंसर की चपेट में पहले 35 से 40 साल की महिलाएं आ रही थी। लेकिन अब 30 साल की कम उम्र की महिलाओं में इसका खतरा बना रहता है। हाल ही में कुछ युवतियां ऐसी भी सामना आ रही है। जिनको 25 साल की उम्र में सर्वाइकल कैंसर हो गया।
जानकारी के मुताबिक अधिकतर लोगों में एचपीवी का संक्रमण होता है, लेकिन इमें संक्रमित का शरीर संक्रमण का मुकाबला करते ही उसको समाप्त करता है। इस कैंसर में शुरुआती लक्षण पता नहीं लगते। लेकिन हालात गंभीर होती ही लक्षण महसूस होने लगते हैं। इन पीरियड्स के साथ ब्लीडिंग, संभोग के बाद खून बहना, तेज गंध के साथ योनि से स्राव होना और पेडू में दर्द बना रहना जैसे लक्षण होते हैं। तब ही महिलाओं को सतर्क हो जाना चाहिए।
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