नई दिल्ली, रफ्तार डेस्क। सोमवार को नेपाल में हुए विमान हादसे ने लोगों को स्तंभ कर दिया है. इस हादसे के बाद नेपाल सरकार की चिंता बढ़ गई है. बता दें कि चीन सरकार के मदद से नेपाल का एयरपोर्ट तैयार हुआ है. चीन सरकार के अनुसार यह एयरपोर्ट निर्माण के लिए नेपाल सरकार ने चीन के साथ मार्च 2016 में 22 अरब रुपए के सॉफ्ट लोन समझौते पर हस्ताक्षर किए थे. लेकिन नेपाल सरकार ने कहा है कि इस परियोजना के लिए दिए पैसे को 'कर्ज' की बजाय सहायता में बदला जाए. राजनीतिक एक्सपर्ट के अनुसार नेपाल जैसे कमजोर देश को सहायता के आड़ में कर्ज में फंसाने की चीन की साजिश बताई जा रही है. चीन के जाल में फंसता नेपाल भारत से सहायता की गुहार कर सकता है . इस हादसे के बाद नेपाल को आर्थिक बोझ का भी सामना करना पड़ सकता है।