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सोली सोराबजी के लिए राष्ट्रहित सर्वोपरि था : संघ

नागपुर, 30 अप्रैल (हि.स.)। देश के पूर्व अटॉर्नी जनरल एवं पद्म विभूषण से अलंकृत सोली सोराबजी का शुक्रवार को दिल्ली में निधन हो गया। 91 वर्षीय सोराबजी कुछ दिनोें से कोरोना वायरस से संक्रमित थे। सोराबजी के निधन पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने गहरी शोक संवेदना व्यक्त करते हुए कहा है कि उनके लिए राष्ट्रहित सर्वोपरि था। सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत और सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले ने अपने शोक संदेश मे कहा, स्व. सोराबजी कानून के जानकार थे। उन्होंने अपने जीवन में हमेशा उच्च मूल्यों को अहमियत दी। सोराबजी की वकालत में पक्षपात के लिए कोई स्थान नहीं था। उनके जीवन में हमेशा साहस, न्यायप्रियता और निष्पक्षता प्रमुख रूप से दिखाई दी। उनके लिए राष्ट्रहित सर्वोपरि था। ईश्वर, दिवंगत आत्मा को शांति प्रदान करें। उल्लेखनीय है कि वरिष्ठ अधिवक्ता सोराबजी 1989 से 90 और फिर 1998 से 2004 तक देश के अटॉर्नी जनरल थे। उनका जन्म महाराष्ट्र में वर्ष 1931 में हुआ था। उन्होंने 1953 में बॉम्बे हाईकोर्ट से अपनी प्रैक्टिस शुरू की थी। हिन्दुस्थान समाचार/ मनीष कुलकर्णी

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