motivational-speaker-vaibhav-pandey-entered-in-the-world-books-of-records
motivational-speaker-vaibhav-pandey-entered-in-the-world-books-of-records

वर्ल्ड बुक्स आफ रिकार्डस में दर्ज हुए मोटिवेशनल स्पीकर वैभव पांडे

लखनऊ, 25 अप्रैल (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की कार्यशैली से प्रभावित वैभव पांडेय ने एक ही दिन में आठ केंद्रों के माध्यम से 65 सरकारी योजनाओं की जानकारी सैकड़ों लोगों तक पहुंचाई। इसी अनूठे काम से उनका नाम वर्ल्ड बुक्स आफ रिकार्डस में दर्ज हो गया है। लेखक व मोटिवेशनल स्पीकर वैभव पांडे हर समय नया करते रहते हैं। वह उत्तराखण्ड और यूपी में अनोखे ढंग से योजनाओं का प्रचार करते हैं ताकि अंतिम पायदान पर खड़ा व्यक्ति जागरूक हो सके। मूलरूप से हल्द्वानी के रहने वाले वैभव अब नोएडा में रहते हैं। उन्होंने राज्य व केंद्र सरकार की 65 योजनाओं का अध्ययन किया और ठाना कि इन्हें आम जन तक पहुंचाया जाए, जिससे कि इन योजनाओं का अधिक से अधिक लाभ लोगों को मिल सके। इसके लिए वैभव ने आठ सेंटर तैयार किए। इसमें छह निजी स्कूल थे। इन सभी स्कूलों में उन्होंने 65 सरकारी योजनाओं की जानकारी सैकड़ों बच्चों को दी। इसमें परीक्षा पे चर्चा, मन की बात, मेक इन इंडिया, स्किल इंडिया, डिजिटल इंडिया आदि योजनाएं शामिल रहीं। इन योजनाओं का लाभ कैसे उठाया जाए, इस बारे में भी बारीकी से बताया गया। वल्र्ड बुक ऑफ रिकॉर्डस की तरफ से निर्णायक तिथि भल्ला ने सभी कैम्पेन स्थलों का खुद निरीक्षण किया और वैभव के नाम इस रिकॉर्ड को दर्ज किया है। वैभव पांडे बताते हैं, बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ, आत्मनिर्भर भारत, स्किल इंडिया, मेक इन इंडिया सरीखी सभी योजनाओं पर उन्होंने जागरूकता अभियान चलाया। उन्होंने लोगों को अलग अलग स्कूलों, कम्यूनिटी हॉल, ऑनलाइन माध्यम इत्यादि से जोड़ा और यह कोशिश की कि मोदी सरकार की सभी नीतियों से लोग अवगत हों और इनका लाभ उठा सकें। जनता तक यह सब जानकारी पहुंचती है तो इसका व्यापक असर होता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नीतियों और उनकी कार्यशैली की तारीफ करते हुए वैभव अपनी पंक्तियां सुनाते हैं - हिम्मत की जो यह मशाल आपने जलाई है, सम्राटों के तलवारों से ज्यादा यह काम आई है। वैभव के इस कारनामे की गूंज लंदन तक पहुंची। लंदन से ब्रिटिश सांसद वीरेन्द्र शर्मा भी उन्हें बधाई दी है। वल्र्ड बुक ऑफ रिकॉर्डस के चेयरमैन दिवाकर सुकुल और प्रेसिडेंट संतोष शुक्ला ने भी उन्हें उपलब्धि के लिए सराहा है। --आईएएनएस विकेटी/एसकेपी

Related Stories

No stories found.
Raftaar | रफ्तार
raftaar.in