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दोस्ती की मिसाल: दोस्त की मां को जरूरत थी रेमडेसिविर की, युवक बाइक चलाकर चंडीगढ़ से पहुंचा अलवर

- चार सौ किलोमीटर का सफर करीब 8 घंटे में किया पूरा अलवर, 15 मई (हि.स.)। दोस्ती के कई किस्से फिल्मों, किताबों में बहुत सुने और पढ़े होंगे लेकिन रियल जिंदगी में दोस्ती की मिसाल बहुत कम देखने को मिलती है। हालांकि समाज में आज भी ऐसे बहुत से लोग हैं जो दोस्ती को अपने रिश्तेदारी से ज्यादा अहमियत देते हैं। दोस्त के साथ सुख, दुख में शामिल होकरअपनी दोस्ती का फर्ज निभाते है। ऐसी ही दोस्ती देखने को मिली है अलवर शहर में। चंडीगढ़ में रहने वाले अर्जुन बाली शहर के बनर्जी बाग निवासी अपने दोस्त साहिल सिंह राठौड़ की मां के कोरोना संक्रमण के कारण गंंभीर बीमार होने पर चंडीगढ़ से बाइक पर रेमडेसिविर इंजेक्शन लेकर अलवर पहुंचे। अर्जुन ने चार सौ किलोमीटर का यह सफर करीब 8 घंटे में पूरा किया। कोरोना से पीड़ित साहिल की माता को इंजेक्शन मिलने से उनकी हालत में अब पहले से सुधार है। उनकी सात मई से तबीयत खराब थी। साहिल के पिता आर्मी में है जिस कारण अलवर के मिलट्री हॉस्पिटल में उसकी मा का इलाज चल रहा था। रेमडेसिविर इंजेक्शन अलवर में उपलब्ध नहीं हो पा रहा था। चंडीगढ़ में जब अर्जुन को इस बात का पता चला तो वह बाइक से 13 मई की शाम 4 बजे चंडीगढ़ से निकले और रात करीब 12 बजे अलवर इंजेक्शन लेकर पहुंंचे। अलवर में अर्जुन का हुआ स्वागत चंडीगढ़ से अर्जुन के अलवर पहुंचने पर साहिल के परिजनों व भाजपा जिला अध्यक्ष संजय नरूका, जिला मंत्री जितेंद्र सिंह राठौड़ सहित अन्य कार्यकर्ताओं द्वारा उनका फूल माला पहनाकर स्वागत किया। उनके इस कार्य की सभी ने सराहना की। 11वीं कक्षा में हुई थी दोनों में दोस्ती अर्जुन ने बताया कि साहिल और वह 11वीं कक्षा में चंडीगढ़ स्थित केंद्रीय विद्यालय में साथ पढ़ते थे। तभी से वह लगातार साथ-साथ पढ़ रहे हैं और तभी से दोस्ती है। अभी दोनों चंडीगढ़ में ही डिफेंस की तैयारी कर रहे हैं। अर्जुन ने बताया कि कोरोना के चलते साहिल अलवर आ गया। जब उस से बात हुई तो इस घटना की जानकारी मिली। अभी वह अपने दोस्त के घर अलवर ही रुके हुए है। हिन्दुस्थान समाचार/मनीष/संदीप

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