भाजपा से दूरी बना सकते हैं मुकुल राय, पार्टी नेता मनाने में जुटे
कोलकाता, 04 जून (हि.स.)। पश्चिम बंगाल की राजनीति में हलचल बनी रहती है। इस बार एक दौर में मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के बेहद करीबी रहे मुकुल रॉय ने भाजपा में शामिल होने के बाद पंचायत चुनाव, लोकसभा और विधानसभा चुनावों में शानदार काम किया है। लेकिन खबर है कि पार्टी में उन्हें प्रदेश स्तर के शीर्ष नेताओं द्वारा उपेक्षित किया जा रहा है, जिसके कारण वह अब विधानसभा चुनाव में शिकस्त के बाद पार्टी से दूरी बनाने लगे हैं। इधर उनकी नाराजगी दूर करने में भाजपा के शीर्ष नेता जुट गए हैं। उनकी पत्नी की सेहत के बारे में जानने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुद फोन किया था और अब उन्हें विधानसभा में अहम जिम्मेदारी दिए जाने के बारे में चर्चा चल रही है। विधानसभा चुनाव में सत्तारूढ़ दल की जीत के बाद ऐसा माना जा रहा था कि विधानसभा की लोक लेखा समिति खुद अपने पास रखेंगी, लेकिन यह अटकलें खत्म हो गई हैं। तृणमूल कांग्रेस ने लोक लेखा समिति की जिम्मेदारी विपक्षी पार्टी भाजपा को देने जा रही है। ऐसा कयास लगाया रहा है कि बीजेपी मुकुल रॉय को कमेटी का चेयरमैन बना सकती है। लोक लेखा समिति का चेयरमैन प्रायः विपक्ष का ही एमएलए होता है। सूत्रों के मुताबिक सत्ताधारी दल ने बुधवार को भाजपा को इसकी जानकारी भी दी। अगर लोक लेखा समिति के चेयरमैन नाम की घोषणा बीजेपी करती है तो विधानसभा में इसकी घोषणा की जाएगी। सूत्रों ने बताया कि बीजेपी के एमएलए मुकुल रॉय को चेयरमैन बनाया जा सकता है। हालांकि अभी अंतिम अंतिम निर्णय नहीं हुआ है। सूत्रों के मुताबिक, बीजेपी विधानसभा में 10 समितियों की प्रभारी होगी। तृणमूल कांग्रेस की विधायक असीमा पात्रा होम स्टैंडिंग कमेटी की चेयरमैन होगी। साल 2016 के चुनाव में कांग्रेस और वाम गठबंधन ने 76 सीटों पर जीत हासिल की थी। उनके पास 18 समितियां थीं, लेकिन इस बार बीजेपी को अकेले 77 सीटें मिलीं, लेकिन 10 कमेटियां ही उनके पास जाने वाली हैं। माना जा रहा है कि मुकुल रॉय को पीएसी का चेयरमैन बनाने के बाद पार्टी से बन रही उनकी दूरियां खत्म हो सकती हैं। हिन्दुस्थान समाचार / ओम प्रकाश/मधुप