सियालदह डिवीजन में 56 लोकल ट्रेनें रद्द
कोलकाता, 20 अप्रैल (हि. स.)। मंगलवार को राज्य की सबसे व्यस्त लोकल ट्रेन सेवाएं में से पूर्व रेलवे के सियालदह डिवीजन में 56 स्थानीय ट्रेनों को रद्द कर दिया गया। सूत्रों के अनुसार, रेलकर्मियों के कोरोना संक्रमित होने के कारण ऐसा किया गया है। पूर्व रेलवे के सूत्रों के अनुसार, उनके लगभग 90 कार्यकर्ता कोरोना से संक्रमित हैं। उनमें से लोकल ट्रेन ड्राइवर और गार्ड भी हैं। उनके रिक्त पदों पर काम करने के लिए पूर्व रेलवे में कोई नहीं है। अन्ततः उन्हें ट्रेन सेवाएं बंद करनी पड़ी। हालांकि पूर्व रेलवे ने दावा किया कि व्यस्त दिन समय में कोई ट्रेन रद्द नहीं की गई। ताकि व्यस्त घंटों के दौरान यात्रियों को यात्रा करने में कठिनाई न हो। पूर्व रेलवे के अनुसार, मंगलवार को सियालदह डिवीजन में रद्द की गई 56 ट्रेनों में बैरकपुर लोकल, नैहाटी लोकल, डानकुनी लोकल, गोबरडांगा लोकल, दत्तपुकुर लोकल और सोनारपुर लोकल शामिल हैं। कम दूरी की ट्रेनों को रद्द कर स्थिति को संभाला जा रहा है। पूर्व रेलवे अधिकारियों के अनुसार रद्द की गई ट्रेनों की संख्या का यात्री सेवाओं पर कोई असर नहीं पड़ेगा। हालांकि, यात्रियों का अनुभव अलग है। उनका कहना है कि ट्रेन को सुबह भी रद्द किया गया है। व्यस्त समय में ट्रेन में आ रही है। चूंकि उसकी वजह से भीड़ बढ़ गई है, कई लोग भीड़ के कारण ट्रेन में नहीं चढ़ पा रहे हैं। रेलवे अधिकारियों के अनुसार, राज्य में लॉकडाउन में जितनी देरी होगी उतनी ही जल्दी कोरोना रेलकर्मियों के बीच फैलेगा। इसके साथ ही राज्य के विभिन्न हिस्सों में भी फैल जाएगा। सेवा को सामान्य रखने के लिए, रेलकर्मियों को तेजी से टीकाकरण से किया जाना चाहिए। इसकी व्यवस्था रेलवे विभाग को करनी होगी। इस संबंध में, पूर्व रेलवे के अधिकारियों ने कहना है कि सियालदाह और हावड़ा डिवीजन में उनके कई गार्ड्स, मोटरमैन, सिग्नल- टेलीकम्यूनिकेशन डिपार्टमेंट के कर्मचारी कोरोना संक्रमित हुए हैं। इसलिए रेलवे सेवा को चालू रखने के लिए उन्हें कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है। पूर्वी रेलवे के मुख्य जनसंपर्क अधिकारी कमल दास ने कहा कि हम लगातार सेवा देने के लिए तैयार हैं। हम अभी भी उस सेवा को प्रदान करने के लिए काम कर रहे हैं। लेकिन जिस तरह से कर्मचारी संक्रमित होने लगे हैं, उससे सेवाएं स्वभाविक रखना मुश्किल हो गया है। इस बीच रेलवे की तरफ से विभिन्न रेलवे स्टेशनों पर यात्री में कोरोना के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए एक अभियान शुरू कर दिया है। रेलकर्मियों के लिए भी कई उपाय किए गए हैं। हालांकि, कई मामलों में काम के लिए कर्मचारियों के बीच शारीरिक दूरी बनाए रखना संभव नहीं है। इसलिए रेलकर्मियों में खतरा बढ़ रहा है। जिसका असर रेलवे सेवा पर पड़ रहा है। हिन्दुस्थान समाचार/सुगंधी/गंगा