नई दिल्ली, रफ्तार डेस्क। उत्तराखंड के हल्द्वानी हिंसा में डिस्ट्रिक मजिस्ट्रेट वंदना सिंह ने हिंसा में कई अहम फैसले लेकर लोगों को चौंका दिया। एक महीला अफसर होने के नाते हल्द्वानी हिंसा प्रभावित क्षेत्र में उन्होंने मामले को सही ढंग से सुलझाया। उनकी कार्यवाई का सोशल मीडिया पर कई लोग समर्थन कर रहे हैं तो कई लोग ट्रोल कर रहे हैं।
आई स्टैंड विद वंदना सिंह हुआ ट्रेंड
सोशल मीडियो प्लेटफॉर्म 'X' पर आज वंदना सिंह के समर्थन में आए यूजर ने कहा- इस्लामस्ट्स की डिजिटल भीड़ डीएम वंदना सिंह को निशाना बना रही है जिन्होंने हल्द्वानी में दंगों को शांत करने में अच्छा काम किया है। जहां तक किसी भी अवैध ढांचे का सवाल है, चाहे वह 20 साल पुराना हो या 100 साल पुराना, सरकार के पास उसे गिराने का पूरा अधिकार है। इस हालत को समझिये। ऐसी स्थिति क्यों उत्पन्न हुई कि उत्तराखंड में 6800 वक्फ़ भूमि होने के बावजूद अवैध भूमि पर कोई निर्माण किया गया? और फिर आपके पास 50 नोटिस मांगने का दुस्साहस है।यूजर ने आगे लिखा आई स्टैंड विद वंदना सिंह फिर चाहे कुछ भी हो!
#I stand with Vandana Singh, no matter what!
सोशल मीडिया पर हुई वंदना सिंह की तारीफ
एक और यूजर ने कहा- नैनीताल की डीएम वंदना सिंह IAS जैसे बहादुर अफसर पर गर्व महसूस होता है। बिना किसी डर के उन्होंने एक 'अवैध रूप से निर्मित' मदरसे को ध्वस्त करने का आदेश दिया, और सांप्रदायिक दंगाइयों को भी बेनकाब किया, जिसने पारिस्थितिकी तंत्र को झकझोर कर रख दिया है!
#IsupportVandana Singh
सोशल मीडिया यूजर ने वंदना सिंह की गिरफ्तारी की मांग की
'X' पर मो. समीर नाक के एक यूजर ने हल्द्वानी हिंसा का वंदना सिंह को कसूरवार ठहराया उन्होंने कहा- जब कोर्ट से आदेश नहीं मिला तो मस्जिद गिराने का आदेश वंदना सिंह चौहान को कहां से मिल गया? सुप्रीम कोर्ट को इस पर संज्ञान लेते हुए निष्पक्ष जांच कर दोषी वंदना सिंह को गिरफ्तार करना चाहिए।
#ArrestVandanaSingh
कौन हैं वंदना सिंह?
हरियाणा के नसरुल्लागढ़ की रहने वाली वंदना सिंह उत्तराखंड कैडर की 2012 बैच की IAS अधिकारी हैं। उन्होंने कन्या गुरुकुल भिवानी से संस्कृत ऑनर्स और बीआर अंबेडकर विश्वविद्यालय, आगरा से LLB की पढ़ाई की। 24 साल की उम्र में वंदना सिंह ने अपने पहली कोशिश में UPSC में 8वीं रैंक हासिल की। उन्हें उत्तराखंड के पिथौरागढ़ के मुख्य विकास अधिकारी के रूप में नियुक्त किया गया। कुछ मीडिया रिपोर्टों के अनुसार, वंदना सिंह 2017 और 2020 के बीच 'बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ' अभियान के ब्रांड एंबेसडर के रूप में भी काम किया। 2020 में वंदना सिंह को रुद्रप्रयाग के डीएम और फिर 2021 में अल्मोड़ा के डीएम के रूप में नियुक्त किया गया। उन्होंनें 17 मई 2023 से नैनीताल की डीएम का कार्यभार संभाला।
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