दिसम्बर तक पूरा करें पंका एसटीपी निर्माण कार्य — डॉ राजशेखर
— "नमामि गंगे" परियोजना के तहत एसटीपी से जोड़े 85 हजार परिवार को सीवेज को किया जाएगा संसाधित कानपुर, 17 जून (हि.स.)। "नमामि गंगे" परियोजना के तहत कानपुर जनपद में "स्वच्छ और अविरल गंगा" को लेकर कई परियोजनाएं चल रही हैं। इसी क्रम में गुरुवार को मंडलायुक्त डॉ राजशेखर ने पंका में बन रही 30 एमएलडी वाले एसटीपी निर्माण कार्य का निरीक्षण किया। इस दौरान कोरोना पाबंदी के चलते कार्य में आई धीमी गति को तेजी से पूरा कराने के निर्देश परियोजना से जुड़े अफसरों को दिए। मंडलायुक्त डॉ राजशेखर ने आज पंका में बन रही 30 एमएलडी एसटीपी निर्माण कार्य स्थल का भ्रमण किया और कार्य प्रगति की समीक्षा की। निरीक्षण के दौरान जीएम जल निगम, परियोजना प्रबंधक और एनएमसीजी के अभियंता भी साथ रहें। उन्होंने पाया कि कार्य की भौतिक प्रगति लगभग 50 फीसदी हुई है। पहले इसे अक्टूबर 2021 तक पूरा किया जाना था, लेकिन कोविड पाबंदी के कारण इसमें 02 महीने की देरी हो गई। मंडलायुक्त ने नमामि गंगे टीम एवं निर्माणकर्ता एजेन्सी को इस वर्ष दिसम्बर तक पूरा करने का निर्देश दिया, ताकि परियोजना का लाभ क्षेत्र के लोगों तक जल्द से जल्द पहुंचाया जा सके। परियोजना के जीएम और परियोजना प्रबंधक को रेलवे विभाग और एनएचएआई की एनओसी में तेजी लाने के निर्देश दिए। उन्होंने अगले 03 से 04 महीनों में इस परियोजना को स्वतंत्र 24 घंटे समर्पित बिजली आपूर्ति प्राप्त करने के कार्य में भी तेजी लाने का भी निर्देश दिए। कहा कि यह प्रोजेक्ट को इस साल दिसम्बर तक हर हाल में पूरा किया जाए। मंडलायुक्त ने जीएम जल निगम और परियोजना प्रोजेक्ट मैनेजर को इस सीजन (जुलाई और अगस्त) में वृक्षारोपण अभियान के तहत सैकड़ों पेड़ लगाने का निर्देश दिए। कहा कि इससे नमामि गंगे के तहत प्रकृति के संरक्षण की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम सुनिश्चित किया जा सकेगा। पंका एसटीपी से 85 हजार परिवारों के सीवेज को जोड़ा जाएगा नमामि गंगे परियोजना के तहत कई मेगा परियोजनाओं में से एक कानपुर के "पंका में नया 30 एमएलडी एसटीपी" बनाया जा रहा है। इस परियोजना की लागत लगभग 100 करोड़ रुपये है और इसमें 30 एमएलडी सीवर को संसाधित करने की क्षमता होगी। यह लगभग 18 वर्ग किलोमीटर क्षेत्र को कवर करेगा और पनकी, स्वराज नगर, गंगागंज, रतनपुर, महावीर योजना, जवाहर पुरम योजना, कांशीराम कॉलोनी आदि सहित दक्षिण कानपुर के लगभग 85 हजार परिवारों की सीवर लाइनों को जोड़ने में मदद करेगा। बताते चलें कि, "नमामि गंगे" परियोजना के तहत, हम “स्वच्छ गंगा राष्ट्रीय मिशन” (एनएमसीजी) की द्वारा "स्वच्छ और अविरल गंगा" के उद्देश्य को प्राप्त करने वाला है। इसको लेकर गंगा नदी बेसिन में विभिन्न स्थानों पर भारत सरकार द्वारा सैकड़ों मेगा परियोजनाएं लागू की जा रही हैं ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि सीवर और औद्योगिक अपशिष्ट गंगा में प्रवाहित न हों। हिन्दुस्थान समाचार/मोहित/विद्या कान्त