नई दिल्ली, रफ्तार डेस्क। बंगाल में इंडि गठबंधन का नेतृत्व करती आई कांग्रेस पार्टी को बड़ा झटका लगा है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बड़ी घोषणा लेते हुए कहा कि हम लोकसभा का चुनाव अकेले लड़ेंगे। कांग्रेस ने मेरा प्रस्ताव नहीं माना, इसलिए हमें यह कदम उठाना पड़ा। कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस में पिछले कई दिनों से सीट बंटवारे को लेकर तनाव चल रहा था। जिसके चलते ममता बनर्जी ने आज सब साफ कर दिया कि वह किसी के साथ लोकसभा चुनाव में गठबंधन नहीं करेंगी।
सीट बंटवारे का है मसला
बंगाल में सत्तारुड़ तृणमूल कांग्रेस की राष्ट्रीय अध्यक्ष और मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कांग्रेस को दो सीट देने का प्रस्ताव दिया था। जिनमें मालदा दक्षिण और बैरकपुर शामिल है। कांग्रेस केवल दो सीटों पर चुनाव लड़ने के लिए सहमत नहीं हुई। बंगाल में कुल 42 लोकसभा सीटें हैं जिसमें से 2 सीटों को छोड़कर तृणमूल कांग्रेस 39 सीटों पर चुनाव लड़ना चाहती है। इसी बात से नाराज तृणमूल कांग्रेस ने हाल ही में इंडि गठबंधन की बैठक में शामिल होने से दूरी बनाई। बंगाल में कांग्रेस इंडि गठबंधन में वामदल कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया CPI(M) को शामिल करना चाहती है। लेकिन तृणमूल कांग्रेस इस बात पर सहमत नहीं थी क्योंकि बंगाल में बीजेपी के बाद CPI(M) दूसरा विपक्षी दल है।
राहुल गांधी "भारत जोड़ो न्याय यात्रा" में व्यस्त
राहुल गांधी इस समय "भारत जोड़ो न्याय यात्रा" में व्यस्त हैं तो वहीं कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने भी ममता बनर्जी से सीट बंटवारे का मद्दा न सुलझाकर राहुल गांधी की यात्रा का समर्थन किया है। बंगाल से कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी और ममता बनर्जी के बीच अकसर तीखी नोक-झोंक देखी गई है।
बीजेपी ने इंडि गठबंधन पर की टिप्पणी
इस पर बीजेपी ने इंडि गठबंधन पर तंज कसा केंद्रीय मंत्री अश्विनी चौबे ने कहा कि यह इंडिया गठबंधन नहीं, ठग गठबंधन है। जो राम का नहीं वो किसी का नहीं, ये आपस में ही लड़ते रहेंगे। ये सत्ता की राजनीति करते हैं। कांग्रेस ने 75 सालों में भारत जोड़ो नहीं भारत तोड़ों की राजनीति की।
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