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पुराने एम्बुलेंस का स्टीकर बदल -बदल चार बार किया गया उद्घाटन,जन आक्रोश के बाद लिपापोती का प्रयास

बक्सर 17 मई (हि.स.)। कोरोनावायरस की दूसरी लहर में स्वास्थ्य सेवाओं पर बढ़ते बोझ के बीच जनता की आखो में धूल झोंकने को लेकर स्थानीय जनप्रतिनिधि द्वारा सारी हदे पार कर दी गई है।एक ही एम्बुलेंस का नाम बदल -बदल कर बार -बार उद्घाटन किया गया है। मामला तब संज्ञान में आया जब बीते दिनों स्थानीय सांसद सह केन्द्रीय स्वास्थ्य राज्य मंत्री आश्विनी चौबे के द्वारा एसजेवीएन संस्था द्वारा वर्ष 2019 में जिला स्वास्थ्य समिति को गिफ्ट किये गये एम्बुलेंस को रंग रोगन कर महर्षि विश्वामित्र चलंत स्वास्थ्य सेवा वाहन का नाम देकर इसी एम्बुलेंस का चौथी बार स्थानीय सांसद द्वारा वर्चुअल उद्घाटन किया गया।तय सुदा समय पर फुल मालाओं से सजे सभी चारों एम्बुलेंसों को जिला समाहरणालय के केम्पस में लाया गया। सांसद ने वर्चुअल उद्घाटन भी किया पर चोर की दाढ़ी में तिनका कहावत का भय ही था ,कि ना कोई अधिकारी ना कोई भाजपा नेता उक्त एम्बुलेंस सेवा को हरी झंडी दिखाने को तैयार हुए बस उद्घाटन होते ही चार विधानसभा क्षेत्रो के लिए इन्हें रवाना कर दिया गया। उल्लेखनीय है कि गत आठ अप्रैल 2021 को केन्द्रीय स्वास्थ्य परिवार कल्याण राज्य मंत्री सह स्थानीय सांसद आश्विनी कुमार चौबे ने विभागीय पत्र जारी कर बक्सर सिविल सार्जन को एसजेवीएन कम्पनी द्वारा गिफ्ट किये गये कुल छह एम्बुलेंस में से पांच एम्बुलेंस हैदराबाद के धनुष संस्था नामक एक एनजीओ को हेंड ओवर करने का आदेश दिया गया इस तरह छह में से पांच एम्बुलेंसो को बाहर भेज दिया गया।आश्चर्य तो यह है कि वर्ष 2019 के बाद इन्ही एम्बुलेंसो को पहली वार 102 एम्बुलेंस सेवा , दूसरी बार चिकित्सा चिकित्सक आपके द्वार, तीसरी बार बेहतर स्वास्थ्य सेवा के नाम पर कैमूर विधानसभा क्षेत्र में और चौथी बार गत रविवार के दिन महर्षि विश्वामित्र चलंत चिकित्सा वाहन के नाम से इसका उद्घाटन किया गया। इन पुराने एम्बुलेंस का बार -बार नाम बदल कर उद्घाटन करने के संबंध में स्वास्थ्य राज्य मंत्री का पक्ष जानने का बार बार प्रयास किया गया। पर समाचार प्रेषित किये जाने तक उनका कोई भी जबाब नही आया है। यह दीगर बात है की मंत्री के स्थानीय प्रतिनिधि परशुराम चतुर्वेदी के हवाले से बताया गया कि यह कुछ मीडिया समूहों और विपक्ष की साजिश है।चार बार चार नये नये एम्बुलेंसो का उदघाटन किया गया है,ना की पुरानें एम्बुलेंसों का। इस बाबत चार बार मंत्री के द्वारा उद्घाटन किये गये कुल पन्द्रह एम्बुलेंसो की बात करे तो एसजेवीएन द्वारा सौंपे गये छह एम्बुलेंसो में से पांच एम्बुलेंस हैदराबाद के धनुष फाउन्डेशन के समर्पित किये जाने के बाद शेष बचे दस एम्बुलेंस कहा है ,इसका जबाब किसी के पास नही है। उद्घाटन में पहुंचे सिविल सार्जन जितेन्द्र नाथ ने भी इन मामलो से किनारा करते हुए बस इतना कहा कि महर्षि विश्वामित्र चलंत सेवा वाहनों में प्रशिक्षित टेक्निशियनों की कमी है ऐसे में 36 प्रकार के जांच की बात बेमानी है। उद्घाटन के पश्चात चालक अक्षय कुमार ने बताया की 2019 में पहलीबार इन एम्बुलेंसों का उद्घाटन सदर अस्पताल परिसर में किया गया, दूसरी बार बक्सर किला मैदान में, तीसरी बार कैमूर में और अब चौथी वार बक्सर समाहरणालय में। इन एम्बुलेंस सेवा को लेकर स्थनीय कांग्रेस विधायक संजय तिवारी ने कहा की पुराने पांच एम्बुलेंसों को ही नये नये स्टीकर लगा कर मंत्री बार बार उद्घाटन कर रहे हैं। यह स्थानीय जनता के स्वास्थ्य सेवा को लेकर सांसद का छलावा है ,वह भी तब जब की वे केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री है। हिन्दुस्थान समाचार/अजय मिश्रा

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