मारवाड़ तक पहुंचते ताऊ ते चक्रवाती पड़ा सुस्त, रात भर से चल रही बारिश अब थमी
जोधपुर,19 मई (हि.स.)। अरब सागर से कम दबाव के साथ उठा ताऊ ते चक्रवाती तूफान प्रदेश की सीमा में प्रवेश के साथ आधी रात को मारवाड़ पहुंचा। मगर जिस बात को लेकर आशंका बनी थी वो नहीं रही। मारवाड़ तक पहुंचते पहुंचते तौकते सुस्त पड़ गया। हालांकि मंगलवार को शुरू हुआ बारिश का दौर बुधवार की दोपहर तक थम गया। बादलों का डेरा अब भी बना हुआ है और हवा की गति भी अब धीमी होने लगी है। रात भर से चली आ रही बारिश और तेज हवाओं से कई जगहों पर पेड़ पौधे उखड़ गए और कुछेक स्थानों पर बिजली तारों को भी नुकसान पहुंचा है। सर्किट हाऊस रोड - उम्मेद भवन पैलेस एक कॉलोनी में बारिश से विद्युत तारों की एक लाइन पूरी तरह जल कर नष्ट हो गई। तार टूटकर गिर गए। गनीमत रही कि कोई जनहानि नहीं हुई। मारवाड़ में अभी तक किसी प्रकार के जानमाल के नुकसान के समाचार नहीं मिले है। विद्युत आपूर्ति जरूर लडख़ड़ाई है। तौकते तूफान से मारवाड़ के मौसम में बदलाव आने से भीषण गर्मी से तो निजात मिली ही साथ ही शीत बयार से घुली ठंडक से धूजणी भी छूटने लगी। लोगों को अपने अपने घरों में चलने वाले एसी, कूलर व पंखे तक बंद करने पड़ गए। इस चक्रवात से जोधपुर सहित पूरा संभाग बारिश से तर बतर हो गया है। चक्रवात के चलते मौसम में आए बदलाव के कारण तेज हवा चलती रही। इससे गर्मी से काफी राहत मिल गई। तौकते ने मारवाड़ में आफत की बजाय राहत दी। इससे तापमान में भी गिरावट देखने को मिल रही है। ठंडी हवाओं से मौसम खुशनुमा होने से बैशाख में भी सावन सा एहसास हो रहा है। इधर शहर की सडक़ ों पर पानी नजर आने लगा है। हालांकि तूफान जोधपुर आते आते कमजोर पड़ गया है। पहले जहां 60 किलो मीटर की रफ्तार से हवायें चलने की संभावना जताई गई थी मगर तूफान के कमजोर पडऩे से अब 40-50 किमी प्रतिघंटे की रफ्तार से ही हवायें चलीं। डीप डिप्रेशन के रूप में राजस्थान में तूफान का प्रवेश हुआ। गुरुवार को इसका असर खत्म होने के आसार है। तूफान कमजोर पडऩे से ज्यादा नुकसान नहीं: तूफान के कमजोर पडऩे से अब 40-50 किमी प्रतिघंटे की रफ्तार से ही हवा चलने के बाद गुजरात जैसी तबाही का मंजर का सामना राजस्थान ने नहीं किया। हालांकि अभी भी तूफान का असर खत्म नहीं माना जा रहा। मौसम विभाग ने अभी भी राज्य को अलर्ट मोड पर रखने की बात की है। दूसरी ओर प्रशासन भी अलर्ट मोड पर है। कलेक्टर समेत आपदा प्रबंधन से जुड़े अधिकारी बदलते मौसम पर नजर बनाए हुए हैं। शहर में दोपहर में खिलने लगी धूप: शीत हवाओं के बीच उमस खत्म सी हो गई है। नमी कम रहने से वातावरण में ठंडक घुली है। अब बादलों का ठहराव भी हवा के कारण नहीं हो पा रहा। दोपहर डेढ़ बजे तक शहर में सूर्यदेव ने दर्शन देने शुरू कर दिए। रह रह कर धूप खिलने लगी है। बादल भी कुछ छितराने लगे है। हिन्दुस्थान समाचार/सतीश/ ईश्वर