भिलाईनगर - प्राइवेट आईटीआई में भी गरीब छात्र वर्ग को प्रवेश देने व्यवस्था पर विचार - विमर्श
भिलाईनगर 26 जून(हि. स.)। महानिदेशालय प्रशिक्षण डीजीटी नई दिल्ली के क्षेत्रीय निदेशक छत्तीसगढ़ द्वारा प्राइवेट आईटीआई संचालक संघ के साथ वर्चुअल मीटिंग कल आयोजित की गई। उक्त बैठक छत्तीसगढ़ में संचालित प्राइवेट आईटीआई संस्थानों को आ रही दिक्कतों को लेकर रखी गई थी। बैठक में प्राइवेट आईटीआई संचालक संघ के राष्ट्रीय महासचिव सतीश पुरी, प्रदेशाध्यक्ष कु. शीला आगाशे रायपुर, प्रदेश सचिव हरमीत सचदेवा भिलाई, प्रदेश सचिव रवि सोनी बिलासपुर सहित अनेकों प्राइवेट आईटीआई संचालकगण उपस्थित रहे। बैठक के एजेंडा अनुरूप प्रदेश सचिव हरमीत सचदेवा एवं रवि सोनी ने आईटीआई छात्रों के परीक्षा की दिक्कतों से अवगत कराया, जिस पर क्षेत्रीय निदेशक ने तत्काल कार्यवाही करते हुए छत्तीसगढ़ के स्टेट बोर्ड ऑफ एग्जामिनेशन एम एफ अंसारी को तलब कर नाराजगी व्यक्त कर तुरंत ही निदान का निर्देश दिया। साथ ही एमआईएस पोर्टल के राष्ट्रीय अधिकारी को भी बैठक के बीच ही फोन पर तलब कर निदान करवाया। राष्ट्रीय महासचिव सतीश पुरी ने मांग रखी कि, जिस प्रकार गरीब छात्रों को छत्तीसगढ़ शासन द्वारा स्कूली शिक्षा में प्राइवेट स्कूलों में प्रवेशित कर शासकीय व्यय पर पढ़वाया जाता है, उसी तरह प्राइवेट आईटीआई में भी व्यवस्था की जावे, जिसके लिए प्राइवेट आईटीआई अपनी, 50 प्रतिशत स्थान देने तैयार हैं। जिस पर क्षेत्रीय निदेशक ने संचालनालय के अधिकारियों को रोड मैप तैयार कर प्रस्तुत करने निर्देशित किया। वहीं प्राइवेट आईटीआई की संख्या नियंत्रित करने के एजेंडा पर प्रस्ताव तैयार कर महानिदेशालय (प्रशिक्षण)नई दिल्ली भेजे जाने की तैयारी कर ली गई। बैठक का संचालन राष्ट्रीय महासचिव सतीश पुरी ने किया। आज के प्रस्तावों के क्रियान्वयन की प्रगति की समीक्षा हेतु अगले माह पुनः बैठक रखी गई है। हिन्दुस्थान समाचार/ अभय जवादे