मुंह के छाले - Mouth Ulcer(Muh Ke Chale) in Hindi

मुंह के छाले - Mouth Ulcer(Muh Ke Chale) in Hindi

मुंह के छाले के बारे में - About Mouth Ulcer in Hindi

माउथ अल्सर को मुंह में छाला आना कहते हैं। मुंह के अंदर जो नर्म और मुलायम ऊतक होते हैं, जिसे म्यूकस मेंब्रेन (mucous membrane) कहते हैं, उसी में छाले पड़ते हैं। यह अकसर खाने के दौरान या काफी गर्म खाने से गाल के चमड़े के कटने से होता है।

मुंह में अगर छाले हो जाएं तो कुछ भी खाने में काफी परेशानी होती है। खाना तो दूर पानी पीना भी मुश्किल हो जाता है। छाले होने पर मुंह में तेज जलन और दर्द होता है। कुछ लोगों को तो भोजन नली तक में छाले हो जाते हैं। मुंह में छाला (Muh ke Chhale) आना एक नार्मल बीमारी है, जो कुछ दिनों बाद अपने आप ठीक हो जाती है। कुछ लोगों को छाले बार-बार आते हैं। ऐसे लोगों को अपनी पूरी डॉक्टरी जांच करानी चाहिए, ताकि सही इलाज किया जा सके। मुंह में छाले होने के कई कारण होते हैं। कई बार पेट की गर्मी से भी छाले हो जाते हैं।

मुंह में छालों का कारण - Causes for Mouth Ulcer in Hindi

मुंह में छाले आने के पीछे कई कारण जिम्मेवार होते हैं। मुख्य तौर पर संतुलित आहार, कब्ज, गुटखे और पान मसाले के सेवन और मुंह की गंदगी से मुंह में अक्सर छाले आते हैं। ज्यादा मिर्च-मसालों का सेवन भी इसके लिए जिम्मेदार होता है, क्योंकि यदि पेट की क्रिया सही नहीं है, तो उसके साइड इफेक्ट के रुप में मुंह में छाले आ जाते हैं।

मुंह के छाले के लक्षण - Mouth Ulcer Symptoms in Hindi

  • चबाने और ब्रश करने में परेशानी
  • भूख में कमी
  • मसालेदार, खट्टा और नमकीन चीज खाने पर तेज जलन
  • मुंह के अंदर सफेद और लाल गोल-गोल छाले

मुंह में छालों के कारण - Causes of Mouth Ulcer in Hindi

1. कब्ज - Constipation 

लंबे समय तक कब्ज रहने से मुंह में छाले आ जाते हैं। आयुर्वेद के अनुसार मुंह में छाले पेट की खराबी तथा पेट की गर्मी की वजह से होते हैं। कब्ज इसकी मूल वजह है।

2. गाल या जीभ का कटना - Injury in Cheek and Tounge 

कई बार कोई चीज खाते समय दांतों के बीच जीभ या गाल का हिस्सा आ जाता है, जिसकी वजह से छाले हो जाते हैं। ऐसे छाले मुंह की लार से अपने-आप ठीक हो जाते हैं।

3. दवाओं के साइड इफेक्ट - Medicine Side Effects 

दवाओं के साइड इफेक्ट की वजह से भी मुंह में छाले होते हैं। लंबे समय तक एंटीबॉयोटिक दवाओं सेवन करने से मुंह में छाले आने की संभावना ज्यादा होती है।  ज्यादा एंटीबॉयोटिक के सेवन से हमारी आंतों में लाभदायक कीटाणुओं की संख्या घट जाती है, नतीजा मुंह में छाले हो जाते हैं।

4. दांतों की गलत संरचना - Wrong Structure of Teeth

दांतों की गलत संरचना की वजह से भी मुंह में छाले होते हैं। यदि दांत आड़े-तिरछे, नुकीले या आधे टूटे हुए हैं और इसकी वजह से वे जीभ या मुंह में चुभते हैं या उनसे लगातार रगड़ लगती रहती है, तो वहां छाले हो जाते हैं।

मुंह के छाले का इलाज - Mouth Ulcer Treatment in Hindi

मुंह के छाले कई मामले में नुकसानदेह नहीं होते हैं और कुछ दिनों में खुद ही खत्म हो जाते हैं। हर्पिस वायरस के संक्रमण से हुए माउथ अल्सर में चिकित्सकीय इलाज की जरुरत होती है। सामान्य तौर पर मुंह में छालों के इलाज परहेज और कुछ सामान्य उपाय से ही हो जाते हैं मसलन-

  • जब तक छाले खत्म नहीं हो मसालेदार और खट्टा खाना बंद कर दें।
  • खूब पानी पीएं।
  • गुनगुने नमक-पानी से कुल्ला करें।
  • मुंह को हमेशा साफ रखें।
  • दर्द होने पर पेन किलर दवा ले सकते हैं।
  • छाले वाले जगह पर एंटी-सेप्टिक जेल लगाएं।
  • मेडीकेडेट माउथ वाश से मुंह साफ करें, कुल्ला करें।

टिप्स - Tips to Prevent Mouth Ulcer in Hindi

  • सुबह सुबह गाय के दूध से बने दही के साथ एक केला खाने से आराम मिलता है।
  • खूब टमाटर खाएं। टमाटर का रस एक ग्लास पानी में मिलाकर कुल्ला करने से छाले मिट जाते हैं।
  • यदि छाले सामान्य हैं, तो विटामिन 'बी' कॉम्प्लेक्स तथा फोलिक एसिड की गोलियां 2-3 दिन तक लेने से छाले ठीक हो जाते हैं।
  • छाले पर बोरो ग्लिसरीन भी लगाई जा सकती है या पोटेशियम परमैंगनेट के घोल से कुल्ला करने पर छाले खत्म होते हैं।

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