नई दिल्ली, रफ्तार डेस्क। हिंदू धर्म में बृहस्पतिवार का दिन भगवान विष्णु को समर्पित है। इस दिन विधि-विधान के साथ भगवान विष्णु की पूजा की जाती है। गुरुवार के दिन भगवान विष्णु और गुरु बृहस्पति की पूजा की जाती है। गुरुवार के दिन केले के पेड़ के नीचे भगवान विष्णु की पूजा करने का विधान है। गुरुवार को भगवान विष्णु को गुड़, चना और हल्दी का भोग लगाया जाता है। गुरुवार के दिन बृहस्पति देव की व्रत कथा और आरती करने से अनेक लाभ प्राप्त होते हैं। आज हम आपको कुछ ऐसे मंत्रों के बारे में बताएंगे, जिनका जप गुरुवार को करने से आपके सारे संकट दूर हो जाएंगे और सारी मनोकामनाएं पूरी होंगी।
विष्णु गायत्री मंत्र
भगवान विष्णु के गायत्री मंत्र का जाप करने से आत्मिक शांति मिलती है। भक्तों के जीवन में सभी समस्याओं का समाधान हो जाता है। इस मंत्र को सुबह पढ़ने से बेहद ही लाभ मिलता है।
ॐ नारायणाय विद्महे। वासुदेवाय धीमहि। तन्नो विष्णु प्रचोदयात्।।
विष्णु कृष्ण अवतार मंत्र
यह मंत्र विष्णु भगवान के अवतार श्रीकृष्ण का मंत्र है। देवकी नंदन के जप से श्रीकृष्ण स्वयं आपकी सभी मनोकामनाएं पूर्ण करते हैं।
श्रीकृष्ण गोविन्द हरे मुरारे। हे नाथ नारायण वासुदेवाय।।
विष्णु बीज मंत्र
गुरुवार के दिन विष्णु के बीज मंत्रों में से किसी एक का 108 बार जाप करना अत्यंत लाभकारी होता है। पहला मंत्र बृहस्पति देव का मुख्य मंत्र है, जिसका 108 बार जाप करने से गुरु फल का दोष समाप्त होता है।
ॐ बृं बृहस्पतये नम:। ॐ क्लीं बृहस्पतये नम:। ॐ ग्रां ग्रीं ग्रौं स: गुरवे नम:। ॐ ऐं श्रीं बृहस्पतये नम:। ॐ गुं गुरवे नम:।
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