Raftaar Desk RPI
महिला आरक्षण बिल जिसे नारी शक्ति वंदन अधिनियम भी कहा जा रहा है। संसद के दोनो सदनों से पास कर दिया गया है।
बीते 21 सितंबर को ये बिल राज्यसभा में पेश किया गया था, जिसे बिना विरोध के सर्वसम्मति से पारित कर दिया गया था। संसद के उच्च सदन में इस बिल के पक्ष में कुल 214 वोट और विरोध एक भी वोट नहीं पड़ा है।
वहीं बात करे लोकसभा की तो इस बिल के पक्ष में 454 और विरोध में 2 वोट पड़े थे।
आप को बात दे कि नारी शक्ति वंदन अधिनियम के तहत लोकसभा और सभी राज्य विधानसभाओं में महिलाओं के लिये 33% सीटें आरक्षित की जायेगी।
अधिनियम के तहत महिलाओं के लिए आरक्षित सीटों में से एक तिहाई सीटें अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति की महिलाओं के लिए आरक्षित होंगी।
बिल में ये भी प्रावधान है कि आरक्षण प्रभावी होने के बाद यह 15 सालों के लिए लागू होगा,इसे बढ़ाने के लिए दोबारा संसद से अनुमति लेनी होगी ।
रिपोर्टस की माने तो महिला आरक्षण बिल 2029 के लोकसभा चुनाव से लागू किया जायेगा।
संसद में पास होने के बाद इस बिल को राष्ट्रपति की मंजूरी के लिए भेजा जायेगा।