Raftaar Desk RPI
रेबीज एक ऐसी बीमारी है। जो मनुष्य को मौत तक दे सकती है। यही वजह है कि पूरी दुनिया में हर साल तकरीबन 60000 मौतें रेबीज से होती हैं।
कुछ दिन पहले गाजियाबाद से एक ऐसा मामला सामने आया जिसने हर किसी को अचंभे में डाल दिया। दरअसल हुआ कुछ यूं कि एक 14 साल के बच्चे की मौत रेबीज से हो गई।
आए दिन हम यह सुनते रहते हैं कि कुत्ते ने एक मासूम को अपना शिकार बना लिया । एक कुत्ते ने बुजुर्ग को काट लिया ऐसी खबरें तमाम मिलती रहती हैं।
एक रिसर्च के मुताबिक हर साल दुनियाभर में करीब 59000 मौतें रेबीज के कारण होती है। हालांकि इसमें से 99% कुत्ते काटने से होती हैं। और 1% व बाकि जानवरों के काटने से होती है।
आपको बता दें कि सिर्फ कुत्ते के काटने से ही रेबीज नहीं होता ,बल्कि अन्य जानवरों के काटने से भी रेबीज ही होता है।
रेबीज जानवर का पता इन तरीकों से लगा सकते है। ऐसे जानवर जिन्हें कोई बीमारी हो, ऐसे जानवर जिन्हें खाने-पीने में दिक्कत हो रही हो। वो जानवर जिनके मुंह से बहुत सारा सलाइवा निकल रहा हो। ऐसे जानवर जो एकदम हिंसक हो गए हो, हवा में काटने की कोशिश कर रहे हो ,जो जरूरत से ज्यादा शांत लग रहे हो , जिन्हें चलने फिरने में दिक्कत हो रही हो शरीर पैरालिसिस हो गया हो।
आप किसी के कुत्ते ,बिल्ली, बंदर, नेवला ,लोमड़ी ,सियार या फिर गिलहरी, चूहा और खरगोश द्वारा काटे जाते हैं , खरोंच आती है, तो रेबीज की बीमारी हो सकती है।