कोनर्क

कोणार्क सूर्य मन्दिर के बारे में जानकारी- Konark Sun temple in Hindi

कोणार्क शहर में स्थित कोणार्क सूर्य मन्दिर (Konark Sun temple), कलिंग वास्तुकला का यह उत्कृष्ट नमूना है। यह मंदिर सूर्यदेव को समर्पित है जिसका अंदाजा इसकी बनावट को देखकर लगाया जा सकता है। सूर्य देव के वाहन के समान यह मंदिर पत्थर के एक विशाल रथ जैसा है, जिसके 24 पहिये हैं और 7 घोड़े मिलकर इसे खींच रहे हैं। मंदिर की दीवार पर की गई बारीक नक्काशी और वास्तुकला, पर्यटकों को अपनी और आकर्षित करती है। इस मंदिर में एक नृत्यशाला और सभागार भी है, जो यहां के प्रमुख आकर्षणों में से एक है। मंदिर की महत्ता को ध्यान में रखकर, सन् 1984 में यूनेस्को ने इस स्मारक को विश्व धरोहर की सूची में शामिल किया। कुछ मान्यताओं के अनुसार मंदिर कई बार बना और ध्वस्त हुआ लेकिन इसके कोई आधिकारिक प्रमाण नहीं हैं।

कोणार्क सूर्य मन्दिर का इतिहास - History of Konark Sun temple in Hindi

कोणार्क सूर्य मंदिर का निर्माण, गंग वंश के शासक नृसिंहदेव ने 13वीं शताब्दी में कराया था। इस मंदिर से एक पौराणिक कथा भी जुड़ी हुई है, जिसके अनुसार श्रीकृष्ण के पुत्र साम्ब को श्राप के कारण कोढ़ हो गया था, तब साम्ब ने 12 वर्षों तक चंद्रभाग नदी के सागर संगम पर सूर्यदेव की तपस्या कर रोग से मुक्ति पाई। रोग दूर हो जाने के बाद, चंद्रभाग नदी में स्नान करते हुए, उन्हें सूर्यदेव की एक मूर्ति मिली, जो सूर्यदेव के शरीर के ही भाग से, विश्वकर्मा ने बनायी थी। साम्ब ने एक मंदिर में इस मूर्ति की स्थापना की।

कोणार्क सूर्य मन्दिर में क्या देखे -

कोणार्क सूर्य मंदिर को लेकर कई रोचक तथ्य सामने आए हैं, जैसे मंदिर निर्माण अधूरा रहना, मंदिर का ध्वस्त होना, मंदिर पर आक्रमण आदि। इन सभी के विषय में कई विद्वानों ने अपने- अपने तर्क दिये, लेकिन कोई सिद्ध नहीं पाया। कई मतों के अनुसार मंदिर वास्तु दोषों के कारण खुद ही ध्वस्त हो गया है, तो कइयों के अनुसार सांप्रदायिक तनाव, मंदिर के नष्ट होने का कारण था।

कोणार्क सूर्य मन्दिर सलाह -

  • कोर्णाक सूर्य मंदिर सुबह 6 बजे से लेकर रात को 8 बजे तक ही पर्यटकों के लिए खुला रहता है

  • मंदिर में जाने के लिए पर्यटकों को प्रवेश शुल्क देना पड़ता है, लेकिन 15 वर्ष से कम आयु के बच्चों का प्रवेश निःशुल्क है

  • मंदिर के अद्भुत दृश्यों को कैद करने तथा अपनी यात्रा को यादगार बनाने के लिए पर्यटक यहां कैमरा अवश्य ले जाएं