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अगर नगा समझौता नहीं होता है तो नया जनादेश लिया जाना चाहिए : सीएम

Raftaar Desk - P2

कोहिमा, 23 मार्च (आईएएनएस)। नागालैंड के मुख्यमंत्री नेफियू रियो ने मंगलवार को वार्ता करने वाले पक्षों से एक साथ आने और नगा शांति वार्ता फिर से शुरू करने का आग्रह किया। नागालैंड विधानसभा के सभी सदस्यों ने पार्टी लाइन से ऊपर उठकर मंगलवार को नगा शांति प्रक्रिया को जल्द से जल्द निपटाने की जोरदार मांग की। मुख्यमंत्री ने कहा कि नागालैंड विधानसभा के हर सत्र में नागा राजनीतिक मुद्दे पर चर्चा की जाती है, क्योंकि यह राज्य सरकार का शीर्ष एजेंडा है और इसलिए भी कि लोगों के प्रतिनिधियों को लोगों की भावनाओं और इच्छाओं को व्यक्त करने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि 1964 से विधानसभा में नगा राजनीतिक मुद्दे पर 17 प्रस्ताव पारित किए जा चुके हैं। रियो ने कहा कि सशस्त्र बल विशेष अधिकार अधिनियम 1958 नागालैंड को राज्य का दर्जा मिलने से पहले ही लागू कर दिया गया था, और अतीत में उग्रवाद आंदोलन के दौरान किए गए अत्याचारों के अलावा, मोन जिले के ओटिंग गांव में हाल ही में हुई दुर्भाग्यपूर्ण घटना ने नागालैंड विधानसभा का नेतृत्व किया। उन्होंने कहा, लेकिन अगर कोई समाधान नहीं निकला और उग्रवाद की गतिविधियां जारी रहीं तो युवा पीढ़ी का भविष्य दांव पर लगा रहेगा। उन्होंने कहा, भारत सरकार और एनएससीएन-आईएम के बीच फ्रेमवर्क समझौते पर 3 अगस्त, 2015 को हस्ताक्षर किए गए थे और 17 नवंबर, 2017 को भारत सरकार और नागा राष्ट्रीय राजनीतिक समूहों (एनएनपीजी) के बीच सहमत स्थिति पर हस्ताक्षर किए गए थे। दोनों पक्षों के लिए स्वीकार्य एक सौहार्दपूर्ण समाधान वार्ता 31 अक्टूबर, 2019 को संपन्न हुई। --आईएएनएस एसजीके