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उत्तर-प्रदेश

हरिपदी गंगा में मछलियां मरने पर भड़के तीर्थ पुरोहित

Raftaar Desk - P2

कासगंज, 28 मई (हि.स.)। पश्चिमी उत्तर प्रदेश के श्रेष्ठ धार्मिक स्थल शूकर क्षेत्र सोरों स्थित हरिपदी गंगा में जल प्रवाह कम होने के चलते मछलियों के मरने का क्रम जारी है। शुक्रवार की सुबह मछलियां मरने की जानकारी पर पालिका ने आनन-फानन में मरी मछलियों को गंगा से निकलवाया। कस्बे में खबर फैलते ही तीर्थ पुरोहितों का आक्रोश भड़क गया। उन्होंने पालिका के विरुद्ध नारेबाजी कर गंगा में निजी संसाधनों से जल छोड़े जाने की मांग की है। इन दिनों नहर, नदियां एवं रजवाहे पूरी तरह से सूखे पड़े हैं। पानी नहीं छोड़ा गया है। गोरहा नहर हुई सूखी है। हरिपदी गंगा में पानी का स्तर लगातार कम हो रहा है। जिससे मछलियां मर रही हैं। जिससे पुरोहितों में खासा आक्रोश पनप गया है। तीर्थ पुरोहित सुरेश चंद्र पटियात का कहना है कि जब-जब गंगा में जल का स्तर कम हुआ है। तब तब मछलियां मरी हैं। पालिका को निजी संसाधनों से गंगा में जल छुड़वाना चाहिए। गंगा भक्त समिति के अध्यक्ष सतीश चंद्र भारद्वाज ने कहां है कि लगातार मांग करने के बाद भी नगरपालिका इस ओर ध्यान नहीं दे रही है। जिला प्रशासन भी निर्देशित नहीं कर रहा है। जिसके चलते ना तो गंगा में पानी छोड़ा जा रहा है, और ना मछलियों को मरने से बचाया जा रहा है। श्री गंगा सभा के पदाधिकारी कन्हैया लाल त्रिवेदी ने कहा कि नहरे, नदियां, रजवाहे सूखे पड़े हैं। जिसके चलते गंगा में पानी नहीं आ रहा है, लेकिन पालिका को तीर्थयात्रियों एवं प्रमुख पर्वो का ध्यान रखते हुए जल छुड़वाना चाहिए। युवा तीर्थ पुरोहित अभय स्थापक का कहना है कि शुक्रवार को सुबह पालिका ने गैर जिम्मेदाराना हरकत की है। मरी हुई मछलियों को एकत्रित करा कर कहीं गढ़वा दिया है। लगातार मछलियों के मरने से कस्बे में आक्रोश है। उन्होंने जिला प्रशासन से गंगा में जल छोड़े जाने की मांग की है। मछलियों के मरने पर यह कहते हैं जानकार जिले के वरिष्ठ चिकित्सक डॉ अखिलेश गौड़ का कहना है कि गंगा में जल का स्तर कम होने से ऑक्सीजन की कमी हो जाती है। जिसके चलते मछलियों के मरने का क्रम जारी है। उन्होंने कहा है कि पर्याप्त जल होने से ऑक्सीजन की मात्रा भी पर्याप्त रहती है। जिससे मछली पानी के अंदर रहकर भी अपनी श्वास क्रिया जारी रख सकती है। इसलिए गंगा में पर्याप्त जल का होना आवश्यक है। गंगा में बढ़ाया जा रहा जलस्तर सोरों नगर पालिका परिषद की अध्यक्ष मुन्नी देवी का कहना है कि इन दिनों नहर, नदी, रजवाहे पूरी तरह सूखे पड़े हैं। गोरहा की नहर ही पानी रहित है। यहीं से हरिपदी गंगा में जल का प्रवाह रहता था। इसके चलते पालिका की ओर से कई बार निजी संसाधनों के माध्यम से गंगा में जल छोड़ा गया है। आगे भी यह क्रम जारी रहेगा। हिन्दुस्थान समाचार/पुष्पेंद्र