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मध्य-प्रदेश

हड़ताल कर रहे स्वास्थ्यकर्मी बोले- नौकरी नहीं रहेगी तो ऐसे ही मांगनी पड़ेगी भीख

Raftaar Desk - P2

उज्जैन, 27 मई (हि.स.)। कोरोना संक्रमण काल में अस्थाई स्वास्थ्यकर्मियों को प्रशासन ने प्रदेश सरकार के आदेश पर सेवा देने के लिए बुलाया था। जिनकी समयावधि 30 जून तक है। उसके बाद उन्हें एक बार फिर बाहर का रास्ता दिखा दिया जाएगा, जिसको लेकर स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा तीन दिन पूर्व अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू की गई थी। गुरुवार को तीसरे दिन उन्होंने सड़कों पर पीपीई किट पहनकर भीख मांगी। दो सौ से अधिक स्वास्थ्यकर्मियों को कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर में प्रशासन द्वारा बुलाया गया था और उनकी नियुक्ति चरक भवन, माधवनगर अस्पताल, आरडी गार्डी मेडिकल कॉलेज के साथ ही कोविड केयर सेंटरों पर लगाई गई थी। पिछले वर्ष भी इन्हें इसी तरह सेवा देने के लिए बुलाया गया था और बाद में निकाल दिया गया था। कोरोना की दूसरी लहर का कार्यकाल स्वास्थ्यर्मियों के लिए 30 जून तक रखा गया है। जिसके बाद उनकी सेवाओं को समाप्त कर दिया जाएगा। जिसको लेकर तीन दिन पूर्व स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा संविदा नियुक्ति की मांग करते हुए अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू कर दी थी। आज तीसरे दिन स्वास्थ्यकर्मियों ने पीपीई किट पहनकर सड़कों पर भीख मांगी, जिसको लेकर उनका कहना था कि नौकरी नहीं रहेगी तो उन्हें ऐसे ही भीख मांगना पड़ेगी। स्वास्थ्यकर्मियों ने आरोप लगाया कि सरकार को जब जरूरत होती है तो बुलाया जाता है और जरूरत नहीं होने पर बाहर का रास्ता दिखा दिया जाता है। कोरोना काल में जब मरीजों को परिजन भी हाथ लगाने से डर रहे थे उस समय उन्होंने संक्रमितों को बेहतर सेवाएं दी हैं। ऐसे में सरकार को हमारे विषय में सोचना चाहिए। कलेक्टर बोले सरकार तक पहुंचाएंगे मांग हड़ताल कर रहे स्वास्थ्यकर्मियों द्वारा भीख मांगने की जानकारी चरक भवन पहुंचे कलेक्टर आशीष सिंह को लगी तो उन्होंने उनसे मुलाकात की और कहा कि आपकी मांग प्रदेश सरकार तक पहुंचाई जाएगी। आपका सहयोग कोरोना काल में महत्वपूर्ण रहा है। गौरतलब है कि हड़ताल के पहले दिन स्वास्थ्यकर्मियों ने मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. महावीर खंडेलवाल को ज्ञापन सौंपा था। वहीं कलेक्टर कार्यालय पहुंचकर भी ज्ञापन देते हुए गूंगी-बहरी सरकार को जगाने का काम किया था। इस बीच स्वास्थ्यकर्मी दक्षिण और उत्तर के विधायक से भी मिले थे लेकिन उनकी नाराजगी दक्षिण विधायक के बयान पर बनी हुई है। हिंदुस्थान समाचार/गजेंद्र सिंह तोमर