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बिहार

सौ रोगों की मात्र एक ही दवा है वह है योग - बीडीओ नरकटियागंज

Raftaar Desk - P2

बगहा,21जून(हि.स.)। देश और दुनिया में हर साल 21 जून को अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस मनाया जाता है। हर साल बड़े पैमाने पर इसको लेकर सार्वजनिक कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं।हालांकि कोरोना महामारी के चलते पिछले साल की तरह इस साल भी काफी असर देखने को मिला है। उक्त बातें नरकटियागंज के प्रखंड़ विकास पदाधिकारी ने आज अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के अवसर पर योग करने के दौरान कहा है। आगे कहा है कि मान्यता के अनुसार मानव सभ्यता की शुरुआत से ही योग किया जा रहा है। योग के विज्ञान की उत्पत्ति हजारों साल पहले धर्मों या आस्था के जन्म लेने से भी काफी पहले हो गई थी।योग एक संस्कृत शब्द है। ऋग्वेद में की गई इसकी व्याख्या के अनुसार योग एक ऐसी शक्ति है ,जिससे हम अपने मन, मस्तिष्क और शरीर को एक सूत्र में पिरो सकते हैं।इसी कड़ी में नरकटियागंज में बीडीओ के नेतृत्व में प्रखंडकर्मियों के साथ योगा किया गया। बीडीओ सतीश कुमार ने कहा कि सौ रोगों की मात्र एक ही दवा है वह है योग। योग से मन अवसाद दूर हो जाते हैं और मन शांत हो जाता है।इस दौरान बीरेंद्र कुमार,मनीष कुमार,प्रकाश कुमार के साथ अन्य शामिल रहे।हिन्दुस्थान समाचार /अरविंद