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गृह कलेश निवारण टोटके - Grah kalesh ke totke

गृह कलेश का शुभारंभ प्राय : पति -पत्नी के बीच मनमुटाव के कारण ही होता है। आपस में विचारो का तालमेल न बैठना भी इसका एक कारण हो सकता है। सदा कलेश बने रहने के कारण घर की सुख - समृद्धि नष्ट हो जाती है। यदि आप भी गृह कलेश की समस्या से परेशान है तो आज ही गुरूजी के द्वारा बताये गए टोटको को करके गृह कलेश की समस्या से छुटकारा पा सकते है।

1. पारिवारिक झगडे अथवा गृह कलेश के कारण मन सदा अशांत रहता हो , तो मिटटी के एक कुल्हड़ में थोड़ा सा कच्चा दूध लेकर उसमे चंद बूंदे शहद की टपका दें और घर की छत, सब कमरे , आँगन और मुख्या द्वार पर उसको थोड़ा -थोड़ा छिड़क दें और घर से बाहर उस कुल्हड़ को रख आएं। जाते और आते समय मार्ग में किसी से भी बात न करें। परिचित व्यक्ति को भी नज़रअंदाज़ कर दें। इस टोटके को करने से गृह कलेश ख़त्म हो जायेगा।

2. यदि पिता और पुत्र के विरोध के चलते घर में नित नया कलेश होने लगा है , तो दोनों में से कोई भी एक सवा किलो गुड़ जल में प्रवाहित कर देवें, कलेश नष्ट हो जायेगा।

3. यदि गृह कलेश के कारण घर में अनेक कार्यो में बाधा आ रही है, तो काली तुलसी का पौधा घर में लगाएं और संध्याकाल में तुलसी के पास शुद्ध घी का दीपक अवश्य जलाया करें। यहाँ कार्य ग्रह स्वामिनी के द्वारा किया जाए तो अधिक लाभदायक होगा।

4. यदि परिवार में कलेश, रोग , ईर्ष्या , उत्पन्न होकर परिवार में कटुता - वैमनस्य बड रहा है तो रविवार के दिन एक मिटटी के पात्र में अंगारे रखकर , उसमे कबूतर की सुखी बीट को डालकर उसका धुँआ प्रत्येक कक्ष में रख दें। ऐसा करने से परिवार में बराबर एकता और सौहार्द बना रहेगा। कलेश आदि का अंत हो जायेगा और सब मिल - जुलकर प्रेम से रहेंगे।

5. प्रत्येक अमावस्या के दिन पूरे घर की सफाई करके पांच अगरबत्तियां जला देवे ऐसा करने से नकारात्मकता का अंत होता है एवं गृह कलेश भी ख़त्म होता है।

6. घर में जितने भी खिड़कियाँ - दरवाजे हो , उनमे समय समय पर तेल अवश्य डालते रहें, क्योकि उनके खुलते और बंद होते समय जो ध्वनि होती है , वह क्लेश का कारण बन जाती है।

7. गृह क्लेश का निवारण तथा आर्थिक लाभ के लिए गेहूं सदा शनिवार को पिसवाएं। प्रति 10 किलो गेहूं में 100 ग्राम काले चने डालें।